Monday, 25 September 2017

भारत, रूस के साथ मिलकर बांग्लादेश में परमाणु संयंत्र स्थापित करेगा

भारत, रूस के साथ मिलकर बांग्लादेश में परमाणु संयंत्र स्थापित करेगा

भारत ने 20 सितम्बर 2017 को कहा कि वो बांग्लादेश के रूपपुर में परमाणु ऊर्जा संयंत्र के निर्माण हेतु रूस के साथ मिल कर काम कर रहा है. भारत-रूस करार के तहत तीसरे देश में परमाणु ऊर्जा परियोजनाएं बनाने के संबंध में ये पहला प्रयोग है. ये विदेश में भारत का पहला परमाणु ऊर्जा उद्यम है.

मुख्य तथ्य:

रूपपुर परियोजना बांग्लादेश की पहली परमाणु ऊर्जा परियोजना होगी. इस परियोजना की दो इकाइयों के चालू होने से भारत और पाकिस्तान के बाद बांग्लादेश दक्षिण एशिया का तीसरा देश होगा जो परमाणु विखंडन से ऊर्जा का दोहन करेगा.

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इसकी हरेक इकाई की क्षमता 1200 मेगावाट की होगी. भारत सरकार ने देशज तकनीक पर आधारित 10 नई परमाणु ऊर्जा परियोजनाओं के निर्माण को मंजूरी दी है. इन संयंत्रों के साथ हमारे पास निर्माणाधीन 21 और संचालन वाले 22 संयंत्र हो जाएंगे.

भारत और रूस के बीच दिसंबर 2014 की 'परमाणु ऊर्जा के शांतिपूर्ण उपयोगों में सहयोग सुदृढ़ करने हेतु सामरिक दृष्टि' के अनुसार 'दोनों पक्ष तीसरे देशों में रूसी डिजाइन वाले परमाणु ऊर्जा संयंत्र के निर्माण के लिए भारतीय उद्योग से सामग्रियां, उपकरण और सेवाएं प्राप्त करने के अवसर तलाश करेंगे.

भारत ने अप्रैल 2017 में बांग्लादेश के साथ एक असैन्य परमाणु सहयोग संधि के साथ ही दो और समझौतों पर हस्ताक्षर किए जिसके तहत दोनों पक्ष परमाणु ऊर्जा संयंत्र के लिए उपकरणों और सामग्रियों की आपूर्ति एवं निर्माण कर सकते हैं. देश में विस्तार लेते परमाणु ऊर्जा कार्यक्रम की ज़रूरतों को पूरा करने हेतु परमाणु ऊर्जा विभाग यूरेनियम उत्पादन के लिए खोज एवं उत्खनन की गति बढ़ा रहा है.

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